राजस्थान के इतिहास के स्रोत पुरातत्व भाग-1 | Rajasthan Ke Itihas Ke Srot Puratatv Bhag-1

राजस्थान के इतिहास के स्रोत पुरातत्व भाग-1 | Rajasthan Ke Itihas Ke Srot Puratatv Bhag-1

राजस्थान के इतिहास के स्रोत पुरातत्व भाग-1 | Rajasthan Ke Itihas Ke Srot Puratatv Bhag-1

राजस्थान के इतिहास के स्रोत पुरातत्व भाग-1 | Rajasthan Ke Itihas Ke Srot Puratatv Bhag-1 के बारे में अधिक जानकारी :

इस पुस्तक का नाम : राजस्थान के इतिहास के स्रोत पुरातत्व भाग-1 है | इस पुस्तक के लेखक हैं : Dr. Gopinath Sharma | Dr. Gopinath Sharma की अन्य पुस्तकें पढने के लिए क्लिक करें : | इस पुस्तक का कुल साइज 13.14 MB है | पुस्तक में कुल 314 पृष्ठ हैं |नीचे राजस्थान के इतिहास के स्रोत पुरातत्व भाग-1 का डाउनलोड लिंक दिया गया है जहाँ से आप इस पुस्तक को मुफ्त डाउनलोड कर सकते हैं | राजस्थान के इतिहास के स्रोत पुरातत्व भाग-1 पुस्तक की श्रेणियां हैं : history

Name of the Book is : Rajasthan Ke Itihas Ke Srot Puratatv Bhag-1 | This Book is written by Dr. Gopinath Sharma | To Read and Download More Books written by Dr. Gopinath Sharma in Hindi, Please Click : | The size of this book is 13.14 MB | This Book has 314 Pages | The Download link of the book "Rajasthan Ke Itihas Ke Srot Puratatv Bhag-1" is given above, you can downlaod Rajasthan Ke Itihas Ke Srot Puratatv Bhag-1 from the above link for free | Rajasthan Ke Itihas Ke Srot Puratatv Bhag-1 is posted under following categories history |

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पुस्तक का साइज : 13.14 MB
कुल पृष्ठ : 314

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इस क्षण की घटना आगे आने वाले क्षण का इतिहास बन जाता है । इसी तरह अतीत के राजनीतिक, सामाजिक, धार्मिक तथा आर्थिक परिवर्तन वर्तमानकालीन इतिहास के प्रेरणा-स्रोत हो जाते हैं । इस अतीत और वर्तमान को जोड़ने वाली कड़ी ऐतिहासिक साधन हैं । इन साधनों में काव्य, कथा, झ्यात, वंशावली आदि हैं जिनमें कुछ-न-कुछ ऐतिहासिक वृत्तान्त मिल जाता है इनमें कई राजवंशों के राजाओं की नामावलियाँ, उनके राजत्व काल के वर्षों की संन्या, उनकी उपलब्बियाँ तथा अनेक ऐतिहासिक पुरुषों के नाम एवं उनका कुछ वृत्तान्त रहता है । राजस्थान के इतिहास के लिए इन साधनों से भी अधिक सहायक साधन शिलालेख और दानपत्र हैं जो यहाँ की कई ऐतिहासिक घटनाओं तया ऐतिहासिक पुरुषों तथा बंगक्रम का विवेचन देते हैं ।

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