दबेपांव | Dabepaanv

दबेपांव | Dabepaanv

दबेपांव | Dabepaanv के बारे में अधिक जानकारी :

इस पुस्तक का नाम : दबेपांव है | इस पुस्तक के लेखक हैं : Vrindavanlal Verma | Vrindavanlal Verma की अन्य पुस्तकें पढने के लिए क्लिक करें : | इस पुस्तक का कुल साइज 14 MB है | पुस्तक में कुल 221 पृष्ठ हैं |नीचे दबेपांव का डाउनलोड लिंक दिया गया है जहाँ से आप इस पुस्तक को मुफ्त डाउनलोड कर सकते हैं | दबेपांव पुस्तक की श्रेणियां हैं : history

Name of the Book is : Dabepaanv | This Book is written by Vrindavanlal Verma | To Read and Download More Books written by Vrindavanlal Verma in Hindi, Please Click : | The size of this book is 14 MB | This Book has 221 Pages | The Download link of the book "Dabepaanv" is given above, you can downlaod Dabepaanv from the above link for free | Dabepaanv is posted under following categories history |

पुस्तक के लेखक :
पुस्तक की श्रेणी :
पुस्तक का साइज : 14 MB
कुल पृष्ठ : 221

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देवगढ़ पहुँचने के लिये झांसी-बम्बई लाइन पर जाखलोन स्टेशन मिलता है। वहाँ से देवगढ़ लगभग सात मील है। बैलगाड़ी से जाना पड़ता है । जङ्गली और पहाड़ी मार्ग है। मैं इससे पहले दो बार देवगढ़ हो आया था। सरकार देवगढ़ को अपनी देखरेख में लेना चाहती थी । जैन सम्प्रदाय देना नहीं चाहता था, क्योंकि देवगढ़ के क़िले में प्राचीन जैन-मन्दिर थे—जिनके प्रबन्ध की ओर उपेक्षा अधिक थी और व्यवस्था कम परन्तु मैं जैन-समिति का वकील था। मन्दिर की अवस्था और व्यवस्था देखने के लिये जाना पड़ा था।

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