अलबेरुनी का भारत | Alberuni Ka Bharat

अलबेरुनी का भारत | Alberuni Ka Bharat

अलबेरुनी का भारत | Alberuni Ka Bharat

अलबेरुनी का भारत | Alberuni Ka Bharat के बारे में अधिक जानकारी :

इस पुस्तक का नाम : अलबेरुनी का भारत है | इस पुस्तक के लेखक हैं : Al-Biruni | Al-Biruni की अन्य पुस्तकें पढने के लिए क्लिक करें : | इस पुस्तक का कुल साइज 23.51 MB है | पुस्तक में कुल 466 पृष्ठ हैं |नीचे अलबेरुनी का भारत का डाउनलोड लिंक दिया गया है जहाँ से आप इस पुस्तक को मुफ्त डाउनलोड कर सकते हैं | अलबेरुनी का भारत पुस्तक की श्रेणियां हैं : history, education

Name of the Book is : Alberuni Ka Bharat | This Book is written by Al-Biruni | To Read and Download More Books written by Al-Biruni in Hindi, Please Click : | The size of this book is 23.51 MB | This Book has 466 Pages | The Download link of the book "Alberuni Ka Bharat" is given above, you can downlaod Alberuni Ka Bharat from the above link for free | Alberuni Ka Bharat is posted under following categories history, education |

पुस्तक के लेखक :
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पुस्तक का साइज : 23.51 MB
कुल पृष्ठ : 466

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पूर्व के सृहित्यिक इतिहास में, सन् १९७-१०३० ई० के बीच एशिया के इतिहास के प्रतिप्रसिद्ध, गुंजन के सुल्तान महमूद के दरबार को साहित्य और विशेषकर काव्य साहित्य-का केन्द्र माना जाता है। उसके आश्रय में चार सौ कवि उसके भवनों एवम् उद्यानों को अपने काव्य से गुंजरित करते थे । इनमें उन्सुरी को सर्वोच्च पद प्रदान किया गया था जिसने अपने सत्प्रयासों से नवोदित प्रतिभासम्पन्न साहित्यिक कलाकारों के लिए राजकीय कृपा के द्वार को उन्मुक्त करा दिया था। सुल्तान के आदेश से महाकाव्य की रचना करने वाले फिरदौसी को भी उन्सुरी से कम सम्मानित नहीं समझा जाता था। अभाग्यवश, इतिहास उन अगणित साहित्यकारों के विषय में इसके अतिरिक्त अन्य कोई भी विवरण देने में असमर्थ है कि कसीदों द्वारा भाग्य परीक्षा के लिए उत्सुक फारसी कवियों ने गजन को अपना केन्द्र वन रक्खा था, और वे सुल्तान, वजीरों तथा सिपहसालारों के कृपापात्र बनने की चेष्टा में लगे रहते थे । इतिहास महमूद को एक सफल एवम् विजेता के रूप में ही प्रस्तुत करता है ।

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