आचार्य नरेन्द्रदेव | Acharya Narendra Dev के बारे में अधिक जानकारी :
इस पुस्तक का नाम : आचार्य नरेन्द्रदेव है | इस पुस्तक के लेखक हैं : Bhagwati Sharan Singh | Bhagwati Sharan Singh की अन्य पुस्तकें पढने के लिए क्लिक करें : Bhagwati Sharan Singh | इस पुस्तक का कुल साइज 6 MB है | पुस्तक में कुल 173 पृष्ठ हैं |नीचे आचार्य नरेन्द्रदेव का डाउनलोड लिंक दिया गया है जहाँ से आप इस पुस्तक को मुफ्त डाउनलोड कर सकते हैं | आचार्य नरेन्द्रदेव पुस्तक की श्रेणियां हैं : Biography
Name of the Book is : Acharya Narendra Dev | This Book is written by Bhagwati Sharan Singh | To Read and Download More Books written by Bhagwati Sharan Singh in Hindi, Please Click : Bhagwati Sharan Singh | The size of this book is 6 MB | This Book has 173 Pages | The Download link of the book "Acharya Narendra Dev" is given above, you can downlaod Acharya Narendra Dev from the above link for free | Acharya Narendra Dev is posted under following categories Biography |
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नरेन्द्रदेवजी अपने एक सस्मरण में लिखते हैं—“हमारे खानदान में सबसे पहले अंग्रेजी शिक्षा प्राप्त करने वाले व्यक्ति मेरे दादा के छोटे भाई थे। वह पुराने केनिग कालेज में अध्यापन का कार्य करते थे। उन्होने मेरे पिता और मेरे ताऊ को अग्रेजी शिक्षा दी।" नरेन्द्रदेवजी ने अपने दादा के छोटे भाई को नाम नहीं लिखा, पर उनका व्यवसाय स्पष्ट कर दिया कि वे अध्यापक थे। प्रो० मुकुट बिहारीलालजी लिखते हैं कि इनके पिता श्री बलदेवप्रसाद सीतापुर में अपने चाचा श्री सोहनलाल के शिष्य मुशी मुरलीघर के साथ वकालत करते थे। इससे पता चलता है कि उनके दादा के छोटे भाई जो केनिग कालेज में अध्यापक थे, उनका नाम श्री सोहनलाल था। उनके प्रिय शिष्य मुंशी मुरलीघर थे जिन पर श्री सोहनलाल का विशेष स्नेह था और जब नरेन्द्रदेवजी के पिता ने वकालत पास की तो उन्हे मुरलीधरजी की देख-रेख में वकालत करने 'के लिए सीतापुर भेज दिया