हमारा संविधान : डॉ.राजेंद्र प्रसाद | Hamara samvidhan : Dr.rajendr Prasad | के बारे में अधिक जानकारी :
इस पुस्तक का नाम : हमारा संविधान है | इस पुस्तक के लेखक हैं : Rajendra Prasad | Rajendra Prasad की अन्य पुस्तकें पढने के लिए क्लिक करें : Rajendra Prasad | इस पुस्तक का कुल साइज 2.7 MB है | पुस्तक में कुल 126 पृष्ठ हैं |नीचे हमारा संविधान का डाउनलोड लिंक दिया गया है जहाँ से आप इस पुस्तक को मुफ्त डाउनलोड कर सकते हैं | हमारा संविधान पुस्तक की श्रेणियां हैं : india, Uncategorized
Name of the Book is : Hamara samvidhan | This Book is written by Rajendra Prasad | To Read and Download More Books written by Rajendra Prasad in Hindi, Please Click : Rajendra Prasad | The size of this book is 2.7 MB | This Book has 126 Pages | The Download link of the book "Hamara samvidhan" is given above, you can downlaod Hamara samvidhan from the above link for free | Hamara samvidhan is posted under following categories india, Uncategorized |
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सरकार ने 26 नवंबर को संविधान दिवस घोषित किया है. आज हमारा संविधान 65 साल का हो गया है. जानिए इससे जुड़ी खास बातें:
1. देश का सर्वोच्च कानून हमारा संविधान 26 नवंबर, 1949 में अंगीकार किया गया था.
2. संविधान सभा को इसे तैयार करने में दो साल, 11 महीने और 18 दिन का समय लगा.
3. संविधान सभा पर अनुमानित खर्च 1 करोड़ रुपये आया था.
4. मसौदा लिखने वाली समिति ने संविधान हिंदी, अंग्रेजी में हाथ से लिखकर कैलिग्राफ किया था और इसमें कोई टाइपिंग या प्रिंटिंग शामिल नहीं थी.
5. संविधान सभा के सदस्य भारत के राज्यों की सभाओं के निर्वाचित सदस्यों के द्वारा चुने गए थे. जवाहरलाल नेहरू, डॉ भीमराव अम्बेडकर, डॉ राजेन्द्र प्रसाद, सरदार वल्लभ भाई पटेल, मौलाना अबुल कलाम आजाद आदि इस सभा के प्रमुख सदस्य थे.
6. 11 दिसंबर 1946 को संविधान सभा की बैठक में डॉ. राजेंद्र प्रसाद को स्थायी अध्यक्ष चुना गया, जो अंत तक इस पद पर बने रहें.
7. इसमें अब 465 अनुच्छेद, तथा 12 अनुसूचियां हैं और ये 22 भागों में विभाजित है. इसके निर्माण के समय मूल संविधान में 395 अनुच्छेद, जो 22 भागों में विभाजित थे इसमें केवल 8 अनुसूचियां थीं.
8. संविधान की धारा 74 (1) में यह व्यवस्था की गई है कि राष्ट्रपति की सहायता को मंत्रिपरिषद् होगी जिसका प्रमुख पीएम होगा.
9. हमारा संविधान विश्व का सबसे लंबा लिखित संविधान है.
10. आज से ठीक 66 वर्ष पहले भारतीय संविधान तैयार करने एवं स्वीकारने के बाद से इसमें पूरे 100 संशोधन किए जा चुके हैं.