सिद्धि के सोपान | Siddhi Ke Sopan के बारे में अधिक जानकारी :
इस पुस्तक का नाम : सिद्धि के सोपान है | इस पुस्तक के लेखक हैं : Acharya Shri Nemichandra | Acharya Shri Nemichandra की अन्य पुस्तकें पढने के लिए क्लिक करें : Acharya Shri Nemichandra | इस पुस्तक का कुल साइज 6 MB है | पुस्तक में कुल 186 पृष्ठ हैं |नीचे सिद्धि के सोपान का डाउनलोड लिंक दिया गया है जहाँ से आप इस पुस्तक को मुफ्त डाउनलोड कर सकते हैं | सिद्धि के सोपान पुस्तक की श्रेणियां हैं : Spirituality -Adhyatm
Name of the Book is : Siddhi Ke Sopan | This Book is written by Acharya Shri Nemichandra | To Read and Download More Books written by Acharya Shri Nemichandra in Hindi, Please Click : Acharya Shri Nemichandra | The size of this book is 6 MB | This Book has 186 Pages | The Download link of the book " Siddhi Ke Sopan" is given above, you can downlaod Siddhi Ke Sopan from the above link for free | Siddhi Ke Sopan is posted under following categories Spirituality -Adhyatm |
यदि इस पेज में कोई त्रुटी हो तो कृपया नीचे कमेन्ट में सूचित करें |
पुस्तक का एक अंश नीचे दिया गया है : यह अंश मशीनी टाइपिंग है, इसमें त्रुटियाँ संभव हैं, इसे पुस्तक का हिस्सा न माना जाये |
मैं जिसे ‘प्रिय साधक' के नाम से सम्बोधित करता है, उस एक साधक ने मेरे बाघजीपुरा चातुर्मासकाल मे 'अपूर्व अवसर पर मुझसे ‘विवेचन' लिख देने की माँग की। उस समय श्रीमद् भगवतीसूत्र के सटिप्पण अनुवाद पर मेरा विशेष ध्यान था। परन्तु मैं प्रति सप्ताह शनिवार को पत्र लिखता था। एक-दो पद्यों पर विवेचन लिख चुका हूँगा, फिर तो शनिवार के सिवाय एक और कभी दो दिन प्रति सप्ताह मिलने से लगभग नौ पद्य लिखे गये होगे कि यह काम ठप्प हो गया । यह पद्यविवेचन लिखते समय मेरे सामने ‘आश्रम-भजनावली' मे १५ पद्यो वाला यह पदसग्रह था, किन्तु बाद मे २१ पद्यों वाला पद-संग्रह मिला और गत चातुर्मास में अधूरा रहा हुआ काम इस चातुर्मास मे पूर्ण हुआ।