हिन्दी-कलाकार | Hindi – Kalakar के बारे में अधिक जानकारी :
इस पुस्तक का नाम : हिन्दी-कलाकार है | इस पुस्तक के लेखक हैं : Indranath Madan | Indranath Madan की अन्य पुस्तकें पढने के लिए क्लिक करें : Indranath Madan | इस पुस्तक का कुल साइज 22 MB है | पुस्तक में कुल 397 पृष्ठ हैं |नीचे हिन्दी-कलाकार का डाउनलोड लिंक दिया गया है जहाँ से आप इस पुस्तक को मुफ्त डाउनलोड कर सकते हैं | हिन्दी-कलाकार पुस्तक की श्रेणियां हैं : literature
Name of the Book is : Hindi – Kalakar | This Book is written by Indranath Madan | To Read and Download More Books written by Indranath Madan in Hindi, Please Click : Indranath Madan | The size of this book is 22 MB | This Book has 397 Pages | The Download link of the book "Hindi – Kalakar" is given above, you can downlaod Hindi – Kalakar from the above link for free | Hindi – Kalakar is posted under following categories literature |
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आज का युग आलोचना का युग है। समाज, धर्म और राजनीति की भाँति साहित्य की भी अच्छाई-बुराई आज युग की कसौटी पर कस कर देखी जा रही है । मौलिक साहित्य-सृजन की अपेक्षा गुण-दोषों की विवेचना अधिक होती है, इसका कारण आज का बुद्धिवाद है । हिन्दी-साहित्य में भी इसकी प्रतिक्रिया हुई है। जितना कार्य आलोचना की दिशा में हो रहा है उतना हिन्दी साहित्य की अन्य किसी दिशा में नहीं। यह हिन्दी की समृद्धि की सूचना और उसके सौभाग्य के लक्षण हैं। परंतु अलोचना आज भी शास्त्रीय होती है, फिर चाहे वह किसी प्राचीन साहित्य-शास्त्री द्वारा लिखी गई हो चाहे किसी अर्वाचीन प्रगतिवादी द्वारा । दोनों ही के निश्चित सिद्धांत होते हैं, जिन से वह लेखक-विशेष की कृतियों की नाप-तोल करता है।