आदर्श भ्रात्र प्रेम | Adarsh Bhratra Prem के बारे में अधिक जानकारी :
इस पुस्तक का नाम : आदर्श भ्रात्र प्रेम है | इस पुस्तक के लेखक हैं : Unknown | Unknown की अन्य पुस्तकें पढने के लिए क्लिक करें : Unknown | इस पुस्तक का कुल साइज 5.9 MB है | पुस्तक में कुल 94 पृष्ठ हैं |नीचे आदर्श भ्रात्र प्रेम का डाउनलोड लिंक दिया गया है जहाँ से आप इस पुस्तक को मुफ्त डाउनलोड कर सकते हैं | आदर्श भ्रात्र प्रेम पुस्तक की श्रेणियां हैं : dharm, hindu
Name of the Book is : Adarsh Bhratra Prem | This Book is written by Unknown | To Read and Download More Books written by Unknown in Hindi, Please Click : Unknown | The size of this book is 5.9 MB | This Book has 94 Pages | The Download link of the book "Adarsh Bhratra Prem" is given above, you can downlaod Adarsh Bhratra Prem from the above link for free | Adarsh Bhratra Prem is posted under following categories dharm, hindu |
पुस्तक का एक अंश नीचे दिया गया है : यह अंश मशीनी टाइपिंग है, इसमें त्रुटियाँ संभव हैं, इसे पुस्तक का हिस्सा न माना जाये |
भगवान् श्रीरामचन्द्रजीके समान मर्यादारक्षक आजतक कोई दूसरा नहीं हुआ, ऐसा कहना अत्युक्ति नहीं होगा। श्रीराम साक्षात् परमात्मा थे, वे धर्मकी रक्षा और लोके उद्धारके लिये ही अवतीर्ण हुए थे। उनके आदर्श लीलाचरित्रको पढ़ने, सुनने और स्मरण करनेसे हृदयमें महान् पवित्र भावकी लहरें उठने लगती हैं और मन मुग्ध हो जाता है। उनका प्रत्येक कार्य परम पवित्र, मनोमुग्धकारी और अनुकरण करनेयोग्य है। ऐसे अनन्त गुणोंके समुद्र श्रीरामके सम्बन्धमें मुझसरीखे व्यक्तिको कुछ लिखना एक प्रकारसे लड़कपन है; तथापि अपने मनोविनोदके लिये शास्त्रोंके आधारपर यत्किञ्चित् लिखनेका साहस करता हैं. विजन क्षमा करें। श्रीराम सर्वगुणाधार थे। सत्य, सुहदता, गम्भीरता, क्षमा, दया, मृदुता, शूरता, धीरता, निर्भयता, विनय, शान्ति, तितिक्षा, उपरामता, नीतिज्ञता, तेज, प्रेम, मर्यादा संरक्षकता, एकपत्नीव्रत,